सनराइजर्स हैदराबाद (SRH) के सफल स्टार नीतीश कुमार रेड्डी ने कहा है कि आईपीएल 2024 में उनके प्रदर्शन के बाद उनके पिता का विरोध करने वाले लोग अब फैंस में बदल गए हैं। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि जो लोग उनकी चुगली करते हैं, वे अब उन्हें डिनर पर आमंत्रित करते हैं।
दरअसल, नीतीश को एक सुपरस्टार क्रिकेटर बनाने में उनके पिता ने काफी संघर्ष किया है। संघर्ष की दास्ता यहां तक है कि क्रिकेटर के पिता ने अपनी नौकरी तक को छोड़ दिया था। नीतीश के पिता मुताल्या रेड्डी जो हिंदुस्तान जिंक में काम करते थे, उन्होंने उदयपुर में अपने ट्रांसफर होने के बाद नौकरी से इस्तीफा दे दिया था। तो वहीं नीतीश ने पांच साल की उम्र से ही प्लास्टिक क्रिकेट बैट से क्रिकेट खेलना शुरू कर दिया था।
नीतीश ने कैसा प्रदर्शन किया?
इसके बाद में नीतीश के पिता ने उन्हें विशाखापट्टन जिला क्रिकेट एसोसिएशन लेकर गए, जहां उन्हें शानदार कोचों ने प्रशिक्षित किया। दूसरी ओर, नीतीश अपने बल्लेबाजी को लेकर विजय मर्चेंट ट्राॅफी 2017-18 में लाइमलाइट में आए थे। इस सीजन उन्होंने 176.41 की शानदार औसत से कुल 1237 रन बनाए थे। इस दौरान उनके बल्ले से एक तिहरा शतक, दो शतक और दो अर्धशतक देखने को मिले थे।
वहीं, आईपीएल 2024 में उन्होंने शानदार प्रदर्शन के दम पर इमर्जिंग प्लेयर ऑफ द ईयर का अवॉर्ड जीता था। इसके साथ भारत के जिम्बाब्वे दौरे के लिए उन्हें टीम इंडिया की Squad में शामिल किया गया और यह उनका पहला अंतरराष्ट्रीय कॉल था।
नीतीश ने न्यूज18 क्रिकेटनेक्स्ट को बताया, “तमाम आलोचनाओं के बीच, मेरे पिता को किसी तरह विश्वास था कि मेरा बेटा कुछ बड़ा करेगा। आप ग्रोथ देख सकते हैं। मैं बहुत खुश हूं कि मेरे पिता को भी अपना खोया हुआ सम्मान वापस मिल रहा है।”
”मुझे लग रहा था कि जिम्बाब्वे सीरीज में मुझे मौका मिलेगा। मुझे कॉल आई और मुझे नहीं पता था कि क्या करना है। मैंने सीधे अपने पिता को फोन किया और वह सचमुच रोने लगे… वह खुशी के आंसु थे। यहां तक कि मेरी मां भी बहुत खुश थीं।”