भारतीय महिला क्रिकेटर शिखा पांडे ने क्रिकेट में हो रहे बदलावों के बारे में बात की। हाल ही में गोवा के पूर्व कप्तान स्वप्निल असनोदकर और गोवा क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष विपुल फड़के के साथ चर्चा के दौरान शिखा पांडे ने महिला क्रिकेट में हो रहे सकारात्मक बदलवा पर अपनी प्रतिक्रिया दी।
तेज गेंदबाज ने महिला प्रीमियर लीग (WPL) जैसे टूर्नामेंटों की भूमिका पर जोर दिया। उनके अनुसार इन नई पहलों ने युवा महिला क्रिकेटरों के लिए नए रास्ते खोले हैं।
स्पोर्टस्टार के हवाले से शिखा पांडे ने कहा, मैंने अभी एक साल अंडर-19 क्रिकेट खेला है, लेकिन अब हमारे पास लड़कियों के लिए अंडर-15 टूर्नामेंट हैं। फिर आपके पास अंडर-23 है, जिसे बीसीसीआई ने इंट्रोड्यूस किया है। पहले होता यह था कि अंडर-19 के बाद सभी लड़कियां सीनियर टीम में जगह नहीं बना पाती थीं। कई बार तो पूरा बैच ही बह जाता था। अब अंडर-23 टूर्नामेंट के कारण वे सभी इसमें शामिल होती हैं।
माता-पिता भी उनके सपनों का समर्थन कर सकते हैं
क्रिकेट में अपने शुरुआती दिनों के बारे में बात करते हुए शिखा ने कहा, जब मैंने क्रिकेट खेलना शुरू किया, तो मेरे कई और दोस्त थे जो वास्तव में अच्छे थे, लेकिन वे आगे खेलना जारी नहीं रख सके, क्योंकि वे अपने माता-पिता को मना नहीं सके।
उन्होंने कहा, हालांकि, अब चीजें बदल गई हैं। अब WPL और कई अन्य टूर्नामेंट होने के साथ, पांच साल की बच्चियां एक महिला क्रिकेटर को टीवी पर खेलते हुए देखती हैं। और वे भी बड़े सपने देख सकती हैं। माता-पिता भी उनके सपनों का समर्थन कर सकते हैं।
WPL का दूसरा सीजन इस बार फरवरी में
बात करें महिला प्रीमियर लीग की तो इसका दूसरा सीजन इस बार नई दिल्ली और बैंगलोर में खेला जा सकता है। गौरतलब है कि पहला सीजन मुंबई और नवी मुंबई में खेल गया था। हालांकि इस बार टूर्नामेंट के दूसरे शहर जाने की पूरी संभवना है। WPL का दूसरा सीजन इस बार फरवरी के आखिरी हफ्ते में शुरू हो सकता है।
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