BGT 2024-25: मै हैरान हूं कि भारत चहल या कुलदीप यादव को नहीं लाया, टीम इंडिया के स्क्वॉड पर ऑस्ट्रेलियाई दिग्गज
आर अश्विन के संन्यास के बाद भारत के पास सिर्फ दो स्पिनर जडेजा और सुंदर बचे हुए हैं
अद्यतन – दिसम्बर 21, 2024 8:48 अपराह्न
ऑस्ट्रेलिया और भारत के बीच जारी बॉर्डर-गावस्कर सीरीज फिलहाल बराबरी पर खड़ी है। जहां पहले टेस्ट में भारत को जीत मिली, तो वहीं दूसरे टेस्ट में ऑस्ट्रेलिया ने पलटवार किया। जबकि तीसरा टेस्ट ड्रॉ पर समाप्त हुआ। आपको बता दें कि भारत ने इस सीरीज के लिए जो स्क्वॉड चुना, उसमें स्पिनर के तौर पर रविचंद्रन अश्विन, रवींद्र जडेजा और वाशिंगटन सुंदर को शामिल किया।
अब चूंकि आर अश्विन ने तीसरे टेस्ट के बाद इंटरनेशनल क्रिकेट से संन्यास ले लिया है, तो भारत के पास सिर्फ दो स्पिनर जडेजा और सुंदर बचे हुए हैं। इस बीच ऑस्ट्रेलिया के पूर्व कप्तान एलन बॉर्डर ने भारतीय स्क्वॉड में कुलदीप यादव और युजवेंद्र चहल को शामिल नहीं किए जाने पर सवाल उठाए हैं।
मुझे आश्चर्य है कि भारत चहल या कुलदीप यादव को लेकर नहीं आया : एलन बॉर्डर
उन्होंने टॉइम्स ऑफ इंडिया के एक इंटरव्यू में कहा, मुझे आश्चर्य है कि भारत (युजवेंद्र) चहल या कुलदीप यादव को लेकर नहीं आया है। एक लेग स्पिनर विकसित करना कठिन है। एक शेन वार्न हर दिन नहीं आता है। मुझे नहीं लगता कि कप्तान लेग स्पिनरों का अच्छी तरह से उपयोग करते हैं वे चाहते हैं कि वे वॉर्न की तरह आक्रमण पर लोगों को इकट्ठा करें। मैंने देखा है कि कप्तान एक लेग्गी लेकर आते हैं और उनके पास बैट-पैड, दो स्लिप और एक गली होती है।
उन्होंने लेग स्पिनर को बैक करने की बात करते हुए कहा कि, आपको उन्हें प्रोटेक्शन देने की जरूरत है। वह हाफ-ट्रैकर या फुल टॉस गेंदबाजी करेंगे। जरूरी नहीं कि वे लोगों को बैट-पैड से आउट करें या स्लिप पर कैच कराएं। आपके पास लेगी से सर्वश्रेष्ठ लाने के लिए कप्तानी होनी चाहिए। फिंगर स्पिनर सख्त होते हैं। यह नियंत्रण की बात है और फिर आप बल्लेबाजों के आउट होने का इंतजार करते हैं। जबकि लेगी के साथ प्रवृत्ति थोड़ी ढीली होने की होती है।
आखिरी में एलन बॉर्डर ने कहा, वॉर्नी अलग थे क्योंकि वह बहुत सटीक थे और गेंद को घुमा सकते थे। इससे पता चलता है कि उस कला में महारत हासिल करना कितना कठिन है।